Star khabre, Chandigarh; 30th October : पंजाब में धान की लिफ्टिंग के मुद्दे पर राजनीति गरमाई हुई है। आज (बुधवार) को केंद्र सरकार के खिलाफ आम आदमी पार्टी (AAP) पंजाब के नेता व समर्थक चंडीगढ़ में सड़कों पर उतर गए। इस दौरान उन्होंने सेक्टर-37 स्थित पंजाब बीजेपी कार्यालय का घेराव करने का फैसला लिया था। लेकिन चंडीगढ़ पुलिस ने उन्हें इस चीज में कामयाब नहीं होने दिया। पुलिस ने आप नेता व मंत्रियों पर वाटर कैनन का प्रयोग किया।
सात मंत्रियों समेत कई विधायक और समर्थकों को पुलिस तीन बसों भरकर थाने ले गई। इस दौरान मंत्री हरजोत सिंह बैंस घायल हो गए। दूसरी तरफ केंद्र राज्यमंत्री व भाजपा नेता रवनीत सिंह बिट्टू ने आप के प्रदर्शन को ड्रामा बताया है। उन्होंने कहा कि अगर पंजाब सरकार ने समय रहते उचित इंतजाम किए होते तो यह स्थिति नहीं होती। उन्होंने आप नेताओं को मंडियों में जाने की नसीहत दी।
पुलिस ने आप नेताओं को डेढ़ सौ मीटर आगे नहीं बढ़ने दिया
AAP के सारे नेता व समर्थक बीजेपी दफ्तर से मात्र डेढ़ सौ मीटर की दूरी पर स्थित बत्रा सिनेमा के पास सुबह से ही जुटे गए थे। इसके बाद उन्होंने एक रोष रैली की है। इस दौरान उन्होंने केंद्र सरकार के खिलाफ जमकर गुस्सा निकाला। सभी मंत्रियों और नेताओं ने रैली को संबोधित किया। हालांकि पुलिस ने सुबह से ही बैरिकेडिंग कर रखी थी। जैसे ही आप नेता व समर्थक आगे बढ़ने लगे तो पुलिस ने उन्हें रुकने के लिए कहा,
लेकिन वह एक भी दलील सुनने को तैयार नहीं थे। सीधे ही पुलिस द्वारा लगाए गए बैरिकेड पर चढ़ने लगे। इसके बाद पुलिस ने वाॅटर कैनन का प्रयोग शुरू किया है। लेकिन वह फिर भी नहीं हट रहे थे। इसके बाद पुलिस ने उन्हें हिरासत में लेकर बसों में बिठा थाने भेजना शुरू कर दिया। प्रदर्शन का नेतृत्व कैबिनेट मंहरभजन सिंह ईटीओ, लाल चंद कटारूचक, कुलदीप सिंह धालीवाल, लाललीत सिंह भुल्लर और मंत्री तरुणप्रीत सिंह, मंत्री हरजोत बैंस समेत कई लोगों को हिरासत में लिया ।
केंद्र अपना फर्ज निभाएं, वरना दिल्ली जाने से नहीं रुकेंगे
इस मौके कैबिनेट मंत्री हरभजन सिंह ईटीओ ने कहा कि हम केंद्र को चेतावनी देते है कि धान की जल्दी लिफ्टिंग जाए, वरना उन्हें प्रदर्शन तेज करना पड़ेगा। मंत्री लाल चंद भुल्लर ने कहा कि हमें किसानों के लिए अपनी जान भी देनी पड़ेगी तो पीछे नहीं हटेंगे।
आज यहां प्रदर्शन कर रहे हैं। अगर दिल्ली में प्रदर्शन करना पड़ तो वह पीछे नहीं हटेंगे। उनका कहना है कि अगर किसान ही परेशान रहेगा तो हमारे मंत्री बनने का फायदा नहीं । अगर सेंटर पैसे भेजने की बात कर रहा है तो उसने अपना फर्ज निभाया है। कोई पंजाब सरकार पर अहसान नहीं किया है। उन्होंने कहा कि पॉलिसी में साफ है कि नई फसल आने से पहले पुरानी फसल उठाई जाएगी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ है।
15 पत्र लिखने के बाद भी नहीं हुआ ध्यान
आप नेताओं का कहना है कि राज्य सरकार शुरू से ही धान उठान के मुद्दे पर गंभीर रही है। सांसद मलविंदर सिंह कंग का कहना है कि मार्च से ही पंजाब का खाद्य आपूर्ति विभाग एफसीआई और केंद्रीय मंत्रालय को पत्र लिख रहा था।
लेकिन केंद्र सरकार ने 9 महीने तक कोई कार्रवाई नहीं की। खाद्य आपूर्ति विभाग ने सबसे पहले 5 मार्च को एफसीआई को पत्र लिखा, फिर 11 मार्च, 13 मार्च, 19 मार्च और 22 मार्च को पत्र लिखे। जून में दो बार 14 और 27 को पत्र लिखे। 03 सितंबर को भी पत्र लिखे। कुल मिलाकर पंद्रह पत्र लिखे जा चुके हैं। इसके अलावा सीएम दिल्ली जाकर केंद्रीय मंत्रियों से मुलाकात कर चुके हैं।
इससे पहले गवर्नर से मिले थे बीजेपी नेता
धान की लिफ्टिंग को लेकर अब पंजाब बीजेपी भी एक्टिव है। ऐसे में दोनों पार्टियों के नेता किसानों का दिल जीतने में लगे हुए हैं । इस चीज को चार विधानसभा सीटों पर 13 नवंबर को होने वाले उपचुनाव से जोड़कर भी देखा जा रहा है। सोमवार को आप नेताओं के प्रतिनिधिमंडल ने वित्तमंत्री हरपाल सिंह चीमा की अगुवाई में गवर्नर से मुलाकात की थी। साथ मांग की थी कि केंद्र सरकार को जाए धान की लिफ्टिंग में तेजी लाने के बारे में कहा जाए।
News Source : DainikBhaskar