Star khabre, Faridabad; 19th February : अंतर्राष्ट्रीय सूरजकुंड शिल्प मेला में पधारने वाले विदेशी मेहमानों की पर्यटन विभाग ने दिल खोलकर खातिरदारी की है। जिसकी बानगी यह देखने को मिली है कि इस सूरजकुंड शिल्प मेले में 44 देशों के 635 विदेशी मेहमान और कलाकार पधारे जिनके लिए पर्यटन विभाग ने दिल खोलकर मेहमान नवाजी की है। विदेशी मेहमानों की ऐसी देखरेख और मेहमान नवाजी को सांस्कृतिक संचार व्यवस्था का अद्भुत नमूना कहा जा सकता है।
पर्यटन विभाग के एमडी सुनील कुमार ने बताया कि पर्यटन विभाग की ओर से विदेशी मेहमानों की देखरेख के लिए उन्हें एयरपोर्ट से लेकर होटल तक लाना सुनिश्चित किया गया था। उनके लिए सभी तरह के खाने के प्रबंध किए गए थे। 44 देशों के 635 मेहमानों के लिए 44 वोल्वो बसें भी आवागमन के लिए लगाई गई थी। यही नहीं इनके लिए विभिन्न अलग-अलग होटल जिनमें ललित, सर्वोदय, गोल्ड फिंच, रोज वुड पर्यटन विभाग के तमाम होटल में 400 रूम भी बुक किए गए हैं। बेहतर व्यवस्था के लिए एचटीसी व ओयो की टीम द्वारा इन सभी को एयरपोर्ट पर ही रिसीव करके लाया गया। एचटीसी और ओयो को ट्रांसपोर्ट व होटल पार्टनर बनाया गया है, जो उन सभी कलाकारों को खानपान से लेकर रहने इत्यादि की सुविधाएं प्रदान कर रहे हैं।
विदेशी मेहमानों को किसी भी तरह की कोई समस्या का सामना न करना पड़े इसके लिए एक ग्रीवेंस पोर्टल भी पर्यटन विभाग की ओर से बनाया गया ताकि उन्हें कोई भी दिक्कत ना हो और वह संबंधित विभाग से संपर्क स्थापित कर सके हालांकि इस पर अभी तक कोई शिकायत नहीं प्राप्त हुई जो हम सबके लिए गर्व की बात है। विदेशी मेहमानों के लिए 99 स्टॉल आरक्षित किए गए हैं। जिनमें बीमास्टिक, बेलारूस, कैमरून, इथोपिया लेबनान, मिस्र इत्यादि के लिए स्टॉल रिजर्व की हैं। कत्याल ग्रुप द्वारा कानून व्यवस्था को लेकर सिक्योरिटी गार्ड भी तैनात किए गए हैं।
पर्यटन विभाग के प्रबंध निदेशक सुनील कुमार ने बताया कि यह सूरजकुंड मेला सांस्कृतिक संचार व्यवस्था का एक बेहतर प्लेटफॉर्म है, जहां विभिन्न संचार शैलियों अपने सभी सामाजिक मानदंडों को पूरा करते हुए एक दूसरे के साथ अपनी संस्कृतियों का आदान-प्रदान करती हैं। उन्होंने कहा कि यह सूरजकुंड मेला विभिन्न संस्कृतियों को संरक्षित करने का भी एक अच्छा प्लेटफार्म है और हम सबको इस पर मिलकर काम करना चाहिए। उन्होंने इसके लिए पर्यटन विभाग के साथ-साथ अन्य सभी ऐसे विभागों को बधाई दी जो इस मेले में अपनी ड्यूटी का कर्तव्य निर्वहन बखूबी कर रहे हैं।