Star khabre, Faridabad; 29th August : मेरा कसूर सिर्फ इतना है कि मैं लगातार छात्र हितों की आवाज उठाता आया हूं जिस कारण मुझे 367 दिन का संघर्ष करना पड़ा क्यूंकि मैं कांग्रेस पार्टी के छात्र संगठन एनएसयूआई का कार्यकर्ता हूं। उक्त वाक्य हरियाणा एनएसयूआई के पूर्व प्रदेश महासचिव कृष्ण अत्री ने आज एक प्रेस वार्ता में कहे। प्रेस वार्ता का आयोजन सेक्टर 16 स्थित पं. जवाहर लाल नेहरू कॉलेज के मैन गेट पर किया गया।
एनएसयूआई के पूर्व प्रदेश महासचिव कृष्ण अत्री ने प्रेस वार्ता में बताया कि उन्हें 21 अगस्त 2023 को पंडित जवाहरलाल नेहरु कॉलेज से निराधार आरोपों के आधार पर सस्पेंड कर दिया था। इसके बाद 6 अक्टूबर 2023 को कॉलेज प्रशासन ने यह आरोप लगाते हुए कॉलेज से निष्कासित कर दिया था कि कृष्ण अत्री ने एसीएस आनंद मोहन शरण के सामने बदतमीजी की जबकि कृष्ण अत्री ने कहा कि उन्होंने ऐसा कुछ नही किया था और ना ही एसीएस आनंद मोहन ने इस बारे में कॉलेज को कोई आदेश दिया था। इसके संबंध में कई बार जिला प्रशासन से लेकर शिक्षा मंत्री, यूनिवर्सिटी प्रशासन, उच्चतर शिक्षा विभाग तथा राज्यपाल महोदय तक शिकायत की गई लेकिन सुनवाई नही हुई क्योंकि मेरे साथ जो अन्याय किया वो भाजपा के इशारे पर किया गया था तो अंत में हाई कोर्ट पंजाब हरियाणा में जाकर गुहार लगाई। इसके बाद हाई कोर्ट में माननीय जज विकास बहल ने यूनिवर्सिटी प्रशासन को 16 अप्रैल 2024 को कृष्ण अत्री के केस में सुनवाई करने के आदेश दिए। आदेश के बाद 2 मई 2024 को कृष्ण अत्री यूनिवर्सिटी में लोकपाल के समक्ष पेश हुए तथा अपने केस के बारे में पूरी जानकारी दी जिसके बाद 22 जुलाई 2024 को यूनिवर्सिटी द्वारा माननीय हाई कोर्ट के आदेश पर यह फैसला लिया कि कृष्ण अत्री को दाखिला दे दिया जाए। इस फैसले के बाद जब कृष्ण अत्री दाखिले के लिए गए तो ना तो दाखिला दिया गया उल्टा पुलिस में शिकायत दे दी गई और जिसके बाद उन्हें 26 जुलाई 2024 को 8 घंटे तक पुलिस ने प्रताड़ित किया और 8 घंटे बाद बिना किसी कसूर के मामला दर्ज कर दिया और फिर जमानत पर छोड़ा गया। इसके बाद उन्होंने फिर से इस संदर्भ में जिला प्रशासन से लेकर राज्यपाल महोदय तक शिकायत की और जिसपर संज्ञान लेते हुए जिला उपायुक्त फरीदाबाद ने डीएचईओ फरीदाबाद को आदेश दिए तथा डीएचईओ फरीदाबाद ने नेहरू कॉलेज प्राचार्य को आदेश दिए जिसके आधार पर 24 अगस्त 2024 को उनका दाखिला हुआ है।
कृष्ण अत्री ने कहा कि अंत में जीत सच्चाई की ही होती है चाहे कोई कितना भी जोर लगा ले। उन्होंने बताया कि नेहरू कॉलेज की पूर्व प्रचार्या को राज्यपाल महोदय के आदेश पर सस्पेंड भी कर दिया गया है। उन्होंने बताया कि उनकी इस लड़ाई में बाधाएं तो बहुत आई लेकिन उन्होंने हार नही मानी और अंत में उनकी तथा सत्य की जीत हुई है। साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि उनकी आवाज को दबाया नही जा सकता है, उनका छात्रहितों में संघर्ष जारी रहेगा।
इस मौके पर छात्र नेता आरिफ खान, दिनेश कटारिया, वेदांग, राहुल, सोनू सिंह, प्रिंस भड़ाना, रवि शर्मा, अभिराज, सुजीत आदि मौजूद थे।