Star Khabre, Faridabad; 14th August : आयुष्मान खुराना की अपकमिंग फिल्म 'ड्रीम गर्ल' में उनके लड़की वाले अवतार को लेकर दर्शकों में खासी उत्सुकता है। इस सोशल-कॉमेडी फिल्म में वे सीता और द्रौपदी के किरदार में नजर आएंगे। इसके अलावा वे फिल्म में पूजा नाम की महिला बनकर उसकी आवाज निकालकर भी कई लोगों को बेवकूफ बनाएंगे। इस किरदार में ढलने के लिए उन्हें क्या मशक्कत करनी पड़ी हैं, इस बारे में हमसे खुद आयुष्मान और फिल्म के डायरेक्टर राज शांडिल्य ने काफी जानकारी शेयर की। डायरेक्टर की जुबानी, तैयारियों की कहानी
निर्देशक राज शांडिल्य ने बताया, "आयुष्मान को इस रोल में ढालने के लिए क्या खास तैयारियां कराई गई थीं। फिल्म की पृष्ठभूमि मथुरा की है तो सबसे पहले वहां की औरतों और उनके मिजाज पर काफी काम किया। इसके लिए आयुष्मान ने पाकिस्तानी कलाकारों के अलावा वो वीडियो भी देखे जिसमें किसी मेल कैरेक्टर ने फीमेल वॉइस निकाली है।" "इन तैयारियों के बाद ही आयुष्मान ने पूजा की आवाज पकड़ी और फिर उसे ही आगे कैरी किया। इस पर काफी जोर दिया कि पहले महिलाओं जैसा फील किया जाए फिर आवाज निकाली जाए। लगातार वीडियोज देखने और प्रैक्टिस करने के बाद आयुष्मान उस मूड और फील में आ पाए। इस पूरी प्रक्रिया में करीबन दो दिन लगे। इस दौरान कई तरह की आवाजें टेस्ट की गई। फनी एलीमेंट के लिए इस बात का भी ध्यान दिया गया कि पूरी तरह महिला की ही आवाज न बाहर आए।" लुक पर ऐसे किया काम
साड़ी पहनकर पूरी तरह तैयार होने में आयुष्मान को काफी वक्त लग जाता था। सबसे पहले मेकअप होता था फिर साड़ी पहनाई जाती थी। इसके बाद नाक पर नथनी और लिपस्टिक लगाई जाती थी। मांग में सिंदूर भी भरा गया।
आयुष्मान को साड़ी पहनाने का काम उनके मेकअप मैन करते थे। इस दौरान दो से तीन असिस्टेंट लगते थे। दो से तीन घंटे का वक्त भी लग जाता था।
फिल्म में आयुष्मान सीता और द्रौपदी के गेट अप में भी नजर आएंगे। इसके लिए मेकर्स ने उनपर एक दर्जन से ज्यादा साड़ियां ट्राई कीं।
लुक में आने के बाद आयुष्मान के लिए जरूरी था लड़कियों की तरह चलना और एक्ट करना। इस काम में आयुष्मान की मदद की उनकी को-एक्ट्रेस नुशरत भरुचा ने। उन्होंने सिखाया कि साड़ी पहनकर कैसा चलना है। आयुष्मान तब तक प्रैक्टिस करते रहे जब तक वे परफेक्ट महिलाओं जैसा वॉक नहीं कर पाए। राहत इस बात की थी कि आयुष्मान को अपने किरदार के लिए हील वाली सैंडल नहीं पहननी पड़ी।
अब बारी थी फिल्म के सबसे मुख्य हिस्से की, जिसके लिए आयुष्मान को महिला की आवाज निकालनी थी।
इसके लिए आयुष्मान ने खास वॉइस मॉड्यूलेशन किया। इसे वे पहले भी करते थे जब वे रेडियो जॉकी थे। तब आयुष्मान स्टूडियो में माइक के पीछे से आवाज निकालते थे। यहां उन्हें कैमरे पर एक्सप्रेशन भी देना था।
आयुष्मान बताते हैं कि कैमरा के सामने उनकी आवाज में थोड़ी सी खराश आती थी लेकिन जब वे स्टूडियो में डबिंग करते हैं तो वही आवाज अच्छे से निकाल पाते हैं।
आयुष्मान बताते हैं, "मैं और मेरा एक दोस्त जब स्कूल में थे तब हम लड़कियों की आवाज में फोन किया करते थे। कभी गर्लफ्रेंड के घर पर फोन लगाया और किसी रिश्तेदार अंकल ने उठा लिया तो हम लड़कियों की आवाज में बात करते थे ताकि उन्हें शक ना हो।"
अश्लील नहीं होने दिया टेली कॉलिंग कन्वर्सेशन
राज बताते हैं, 'फिल्म में आयुष्मान, पूजा नाम के किरदार की आवाजें निकालकर बाकी मर्दों से बात करते हैं। इस दौरान जो कन्वर्सेशन होता है उसे हमने अश्लील नहीं होने दिया। वह इसलिए क्योंकि हमने यह फिल्म फैमिली ऑडियंस के लिए बनाई है। इस कॉलिंग के दौरान भी हमने कई मुद्दों पर कटाक्ष किया है।'